मार्जिन ट्रेडिंग एक उधारी आधारित ट्रेडिंग तरीका है।
इसमें आप अपने ब्रोकरेज से पैसे उधार लेकर शेयर खरीदते हैं।
आप जितनी पूंजी लगाते हैं, उससे कई गुना ज्यादा का सौदा कर सकते हैं।
उदाहरण के लिए, अगर आपके पास ₹10,000 हैं, और ब्रोकर 5 गुना मार्जिन देता है,
तो आप ₹50,000 तक की ट्रेडिंग कर सकते हैं।
हालांकि, यह सुविधा लाभ बढ़ाती है, लेकिन जोखिम भी बढ़ाती है।
इसलिए इसे समझदारी से इस्तेमाल करना जरूरी है।
📈 मार्जिन ट्रेडिंग कैसे काम करती है?
आप पहले एक निश्चित राशि जमा करते हैं।
इसे मार्जिन अमाउंट कहा जाता है।
ब्रोकर बाकी की रकम उधार देता है।
यदि स्टॉक की कीमत बढ़ती है, तो आपको लाभ होता है।
लेकिन अगर कीमत गिरती है, तो नुकसान बढ़ सकता है।
कई बार ब्रोकर मार्जिन कॉल भी कर सकता है।
इस स्थिति में आपको और पैसे जमा करने पड़ते हैं।
नहीं करने पर आपकी पोजिशन बेची जा सकती है।
👍 फायदे क्या हैं?
कम पैसों में बड़ा ट्रेड कर सकते हैं।
तेजी से मुनाफा मिल सकता है।
ट्रेडिंग के अवसरों का तुरंत फायदा उठा सकते हैं।
⚠️ जोखिम क्या हैं?
नुकसान भी कई गुना हो सकता है।
ब्याज देना पड़ता है।
गलत फैसले पूंजी खत्म कर सकते हैं।
बाजार की हल्की गिरावट में भी बड़ी हानि हो सकती है।
🧠 मार्जिन ट्रेडिंग कब करें?
अगर आप बाजार की अच्छी समझ रखते हैं, तभी इसे अपनाएं।
अनुभवहीन निवेशक इससे दूर रहें।
हर बार स्टॉप लॉस लगाएं।
साथ ही पूंजी प्रबंधन का पालन करें।
✅ Chalakinvestor की सलाह
मार्जिन ट्रेडिंग फायदेमंद हो सकती है।
पर सही रणनीति और अनुशासन जरूरी है।
बिना अनुभव या समझ के इसमें न उतरें।
लालच न करें।
जोखिम सीमित रखें।
सीखते रहें, तभी सफलता संभव है।